इस हफ्ते उत्तराखंड के इन जिलों में शनिवार और रविवार को रहेगा लॉकडाउन
देहरादून । प्रदेश के तीन मैदानी जिलों हरिद्वार, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर में इस हफ्ते भी शनिवार और रविवार को लॉकडाउन जारी रहेगा। जबकि देहरादून को लेकर आज स्थिति साफ होगी।
बता दें कि कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए बीते हफ्ते सीएम के निर्देश पर इन चारों जिलों में लॉकडाउन रखा गया था। उस वक्त यह व्यवस्था केवल एक हफ्ते के लिए लागू की गई थी।
कहा गया था कि अगले हफ्ते की स्थिति समीक्षा करने के बाद साफ होगी। जिसके बाद इस हफ्ते इन चारों जिलों में लॉकडाउन को लेकर शासन ने जिलाधिकारियों से रिपोर्ट मांगी थी।
सभी डीएम से रिपोर्ट मांगी
गुुरुवार को चार में से तीन जिलों हरिद्वार, ऊधमसिंहनगर और नैनीताल में जिलाधिकारी की ओर से इस बार भी शनिवार और रविवार को लॉकडाउन रखने का फैसला ले लिया गया।
जबकि देहरादून जिले में गुरुवार रात तक जिला प्रशासन की ओर से स्थिति साफ नहीं हो पाई थी, लेकिन माना जा रहा है कि लगातार बढ़ते कोरोना के मामलों को देखते हुए दून जिला प्रशासन भी लॉकडाउन बढ़ाने के पक्ष में ही रहेगा।
ऐसी स्थितियों में ये ही माना जा रहा है कि इन चारों मैदानी जिलों में इस बार भी शनिवार और रविवार को लॉकडाउन लागू रहेगा।
सभी डीएम से रिपोर्ट मांगी गई है। इस रिपोर्ट का अध्ययन करने के बाद शनिवार और रविवार को लॉकडाउन को लेकर निर्णय लिया जाएगा।
– उत्पल कुमार सिंह, मुख्य सचिव, उत्तराखंड
कोरोना के दो मरीजों को दी गई प्लाज्मा थैरेपी
हल्द्वानी में कोरोना से जंग लड़ रहे दो मरीजों को प्लाज्मा थैरेपी दी गई। दो सौ एमएल प्लाज्मा की डोज दोनों को देने के बाद डॉक्टर अब परिणाम का इंतजार कर रहे हैं। फिलहाल दोनों मरीजों की हालत स्थिर है। एक मरीज का ब्लड प्रेशर थोड़ा मेनटेन हुआ है। एक मरीज को प्लाज्मा देने के लिए दो लोग आए मगर मानक पूरे न होने के कारण उनका प्लाज्मा नहीं लिया जा सका।
कोरोना के गंभीर मरीजों का इलाज प्लाज्मा थैरेपी से किया जाता है। एसटीएच में भी प्लाज्मा थैरेपी शुरू हो गई है। एसटीएच में भर्ती एक सब इंस्पेक्टर और एक अन्य मरीजों को दो-दो सौ एमएल प्लाज्मा की डोज दी गई थी। सब इंस्पेक्टर की पिछले एक सप्ताह के तबियत काफी खराब थी। उनकी हालत स्थिर है।
जबकि एक अन्य मरीज का ब्लड प्रेशर मेनटेन हुआ है। हालांकि डॉक्टर अभी प्लाज्मा थैरेपी के परिणाम को लेकर कुछ भी बोलने को तैयार नहीं है।
28 से 90 दिन के भीतर स्वस्थ हुए मरीज का लिया जा सकता है प्लाज्मा
डॉक्टर इतना ही कह रहे हैं कि ब्लड प्रेशर दवाओं से भी मेनटेन हो सकता है। अधिक निमोनिया होने पर अच्छी एंटीबायोटिक्स भी देनी पड़ती हैं।
प्लाज्मा थैरेपी देने के लिए जरूरी है कि दान देने वाले के शरीर में एंटीबाडी हो। राजकीय मेडिकल कालेज के प्राचार्य डॉ. सीपी भैसोड़ा ने बताया कि प्लाज्मा थैरेपी शुरू की गई है। दो मरीजों को थैरेपी से इलाज किया गया है और डॉक्टर उसको मॉनिटर कर रहे हैं।
प्लाज्मा थैरेपी देने के लिए सख्त मानकों का पालन करना पड़ता है। कोरोना से जंग जीत चुके व्यक्ति का 28 से 90 दिन के भीतर ही प्लाज्मा लिया जा सकता है। खास बात यह है कि प्लाज्मा में एंटीबाडीज होनी चाहिए। प्लाज्मा सिर्फ पुरुषों का ही लिया जाएगा। उसका हीमोग्लोबिन भी अच्छा होना चाहिए। कोरोना से जंग जीतने के बाद पुरुषों में किसी तरह के लक्षण नहीं होने चाहिए।