उत्तराखंड

उत्तराखंड: कांग्रेस विधायकों ने राज्यपाल से की शिकायत, सत्र में जनहित के मुद्दों पर चर्चा न कराने का आरोप

देहरादून I उत्तराखंड में एक दिन के विधानसभा सत्र में कोविड-19 व अन्य जनहित के मुद्दों पर चर्चा न कराने की शिकायत कांग्रेस विधायकों ने राज्यपाल बेबी रानी मौर्य से की है। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह के नेतृत्व में बृहस्पतिवार को कांग्रेस विधायकों का एक प्रतिनिधिमंडल राज्यपाल से मिला।

विधायकों ने एक दिन के सत्र में विपक्ष की अनदेखी का आरोप सरकार पर लगाया। राज्यपाल को सौंपे ज्ञापन में कहा कि सरकार ने पहले तो सदन एक दिन का किया। इसके बाद जनहित के मुद्दों को दरकिनार कर अन्य मुद्दों को कार्य सूची में शामिल कर जनहित के मुद्दों पर चर्चा करने से बचा गया। कांग्रेस के मुताबिक प्रदेश में कोरोना का प्रकोप बहुत ज्यादा बढ़ गया है। लॉकडाउन के कारण उद्योग, व्यापार, पर्यटन आदि बहुत अधिक प्रभावित हुए हैं। बेरोजगारी और महंगाई बढ़ गई है। प्रदेश आर्थिक मंदी की चपेट में है। 

कांग्रेस ने ज्ञापन में प्रदेश सरकार पर किसानों की अनदेखी का आरोप भी लगाया है। कहा है कि किसानों का बकाया भुगतान नहीं किया जा रहा है। प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति भी खराब है। कांग्रेस ने ज्ञापन में यह भी कहा कि एक महिला ने सत्ता पक्ष के एक विधायक पर यौन शोषण के आरोप भी लगाए लेकिन पुलिस इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं कर रही है।

कांग्रेस का आरोप यह भी है कि तीर्थ पुरोहितों के हक हकूकों को खत्म करने का काम सरकार कर रही है जिसका तीर्थ पुरोहित विरोध कर रहे हैं। कांग्रेस ने राज्यपाल से मांग की है कि वह सरकार को निर्देशित करें कि भविष्य में जनहित के मुद्दों को विपक्ष सदन में उठाता है तो वह सदन में उन मुद्दों पर चर्चा कराए। प्रतिनिधिमंडल मेें मंगलौर विधायक काजी निजामुद्दीन, रानीपुर बीएचईएल विधायक आदेश चौहान, भगवानपुर विधायक ममता राकेश और केदारनाथ विधायक मनेेज रावत शामिल रहे। 

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